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Thursday 1 October 2015

मोदीराज में निवेश के लिए पहली पसंद बना भारत


India, China, US, UK and Mexico in FDi chart
मोदीराज में निवेश के लिए विश्व की पहली पसंद बना भारत

प्रतिस्पर्धी देशों की वैश्विक सूचि में भारत की सोलह स्थानो की बड़ी छलांग 

श्रमेव जयते

मोदीराज में निवेश के लिए विश्व की पहली पसंद बना भारत। जी हाँ, भारत अब निवेशकों के लिए पहली पसंद बन चूका है. चीन को पछाड़ कर इसी वर्ष भारत ने यह दर्ज़ा हासिल किया है.  भारत ने इस क्षेत्र में गत वर्ष के मुकाबले ४ स्थानो की लम्बी छलांग लगा कर पांचवें से पहले स्थान पर आ गया है. इस वर्ष जहां चीन में प्रत्यक्ष विदेशी निवेश २८ अरब डॉलर का रहा वहीँ भारत में यह रकम ३१ अरब डॉलर का है. आंकड़ों के लिहाज़ से यह चीन की अपेक्षा १० प्रतिशत ज्यादा है। गौरतलब है की अमेरिका को इस वर्ष २७ अरब डॉलर का विदेशी पूंजी निवेश मिला है.

हम सभी जानते हैं की पूरा विश्व इस समय मंदी के दौर से गुजर रहा है और निवेशक अपने धन की सलामती एवं वृद्धि के लिए बेचैन हैं. ऐसे समय में भारत उन्हें सर्वाधिक उपयुक्त स्थान लगता है जहाँ विकास एक मन्त्र बन चूका है. भारत इस समय दुनिया की सबसे तेजी से बढ़ती हुई अर्थ व्यवस्था है और इस देश का मुखिया अपने राष्ट्र को विश्व का सिरमौर बनाने के लिए बेताब है.

प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने कार्यकाल के प्रारम्भ से ही भारत की सकारात्मक छवि बनाने में कोई कोर कसार नहीं छोड़ी। निवेशकों को आकर्षित करने के लिए जहाँ भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने की पुरजोर कोशिश हुई वहीँ गुड गवर्नेंस के माध्यम से लोगो में विश्वास की वहाली की गई।

अपनी विदेश यात्राओं के माध्यम से जहाँ अमेरिका, जापान, ऑस्ट्रेलिया जैसे विकसित देशों में भारत का पुरजोर पक्ष रख कर निवेश आकर्षित किया वहीँ तेल समृद्ध कड़ी के देशों में भी भारत का पक्ष मज़बूत किया. पड़ौसी देशों से अच्छे सम्वन्ध बनाना भी इसी कड़ी का एक अंग है.

"मेक इन इंडिया" अब महज एक नारा नहीं अपितु एक हक़ीक़त है और "श्रमेव जयते" व  "कौशल विकास कार्यक्रम" उसे गति देनेवाला पंख. निवेश से उत्पादन, उत्पादन से रोजगार और रोजगार से गरीबी उन्मूलन यह चक्र अब चलने लग गया है और यही आर्थिक मोर्चे पर अच्छे दिन की शुरुआत है. आनेवाले दिनों में यह गति और भी तेज भी होगी क्योंकि सिलिकॉन वैली में भी हमारे प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी का डंका बज चूका है.

"डिजिटल इंडिया" कार्यक्रम में अब गूगल, फेसबुक और माइक्रोसॉफ्ट जैसी दुनिया की बड़ी कंपनियों को साथ लेने में मोदी सफल रहे हैं.  भारत के गांव गांव तक इंटरनेट पहुचाने की योजना है जिससे कंप्यूटर क्रांति के इस युग में भारत के ग्रामीण युवक को भी अपनी प्रतिभा के प्रदर्शन का अवसर मिल सकेगा।

इसी बीच प्रतिस्पर्धी देशों की वैश्विक सूचि में भी भारत ने एक साथ सोलह स्थानो की बड़ी छलांग लगाई है. एक ही वर्ष में भारत ७१ वें पायदान से ५५ वें पायदान पर पहुंच गया है और आशा है की अगले वॉश इस सूचि में भारत और भी ऊपर के पायदान में होगा। आर्थिक सुधारों का फायदा अब मिलने लगा है.

अभी हाल ही में संयुक्त राष्ट्रसंघ में हिंदी में दिए अपने भाषण में भारत के प्रधानमंत्री ने स्पष्ट कर दिया की भारत के विकास का मॉडल पश्चिमी देशों जैसा नहीं होगा परन्तु उसका चेहरा मानवतावादी होगा। अपने भाषण में महात्मा गांधी एवं पंडित दीनदयाल उपाध्याय के दर्शन को प्रधानता देते हुए पर्यावरणोन्मुखी सतत विकास की अपनी प्रतिवद्धता को उन्होंने वहां भी दोहराया है.

विगत दो वर्षों में हुए लगभग सभी (लोकसभा, विधानसभा एवं स्थानीय निकाय) चुनावों में जनता ने मोदी के नेतृत्व को स्वीकार किया है, उनके निर्विवाद नेतृत्व में भारतीय जनता पार्टी ने अभूतपूर्व सफलता प्राप्त की है जो उनके सुशासन के प्रति जनता के विश्वास को दर्शाती है.

एक बार मोदी जी ने जहा था की भारत का पश्चिमी भाग विकसित हुआ है परन्तु पूर्वी भाग विकास की दौड़ में पिछड़ रहा है. देश के सर्वांगीण विकास के लिए यह स्थिति अच्छी नहीं है एवं भारत के पूर्वी हिस्से के के लिए लोग मोदी जी की और आशा भरी निगाहों से देख रहे हैं. विकसित अथवा विकासशील स्थान पर निवेश होता है और निवेश पुनः विकास करता है इस प्रकार विकास का पहिया निरंतर गतिमान होता है.

अभी कुछ ही दिनों में देश के एक महत्वपूर्ण पूर्वी हिस्से बिहार में चुनाव होने जा रहा है और वहां की जनता भी उम्मीद कर रही है की भारतीय जनता पार्टी का शासन आएगा और अच्छे दिन लाएगा।  निवेश हमेशा भरोसे से मिलता है "जंगल राज" में कोई भी निवेश नहीं करता।  भाजपा ने अपने सुशासन में बिहार में निवेशकों के भरोसे को बढ़ने का आश्वासन दिया है जिससे बिहार का भी विकास हो सके.

Suggestions to PMO 4: Focus on the top and the bottom of Indian population


Jyoti Kothari
Convener, Jaipur division
Prabhari, West Bengal,
Narendra Modi Vichar Manch

फोटो सौजन्य : www.facebook.com/PMOIndia


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